मेरे श्याम दा सुनेहा नहीं आया

मेरे श्याम दा सुनेहा नहीं आया

मेरे श्याम दा सुनेहा नहीं आया,
कि लोका दिया औण चिट्ठियाँ,
श्याम ने मैनू ना बुलाया
कि लोका दिया औण चिट्ठियाँ............।

चढ कोठे ते काग ऊडावा,
ऊड कावा तैंनू चूरीया पावा,
मैं तक्का श्याम दीया राहा,
कि लोका दिया औण चिट्ठियाँ............।

जांदी वारी श्याम मैंनू ईको गल्ल कह गया,
आवागां जरुर ईको पल विच कह गया,
एक साल बीतन नू आया,
कि लोका दिया औण चिट्ठियाँ............।

श्याम मेरा मैं श्याम दी दीवानी,
ओ ता मेरा दिलवर जानी,
मैं ता अपना आप लुटाया,
कि लोका दिया औण चिट्ठियाँ............।
मेरे श्याम दा सुनेहा नहीं आया,
कि लोका दिया औण चिट्ठियाँ,
श्याम ने मैनू ना बुलाया
कि लोका दिया औण चिट्ठियाँ............।


(लिरिक्स साथ)मेरे शाम दा सुनेहा नहीयो आया कि लोका दीया

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