खाटू मे होली मनाएगे भजन
हावड़ा से चलकर भगतो के संग खाटू हम भी जाएगे -2
ईब के फागण मे ठानी खाटू मे होली मनाएगे -2
किया किया बडा किया हमने इंतेजार किया ठिक है -2
मेला है ये फागण का मन मे विचार किया ठिक है ,
भाई बंधु बीवी बच्चे सबको तैयार किया ,
मेले मे जाने को लाखो का उधार किया ठिक है ,
कुछ भी हो जाए पर ईब तो रोके ना रुक पाएंगे -2
ईब के फागण मे ठानी खाटू................
अब तक जो ना खाया शयाम को खिलाएंगे ठिक है -2
भुतनाथ से लिटी चोखा हम ले जाएंगे ठिक है,
बडा बाजार से रसगुल्ला मंगाऐंगे, श्याम बाजार का संदेश चखाएंगे ठिक है,
ये सब चीजे खाते ही श्याम हम से प्रेम बढाएगे ठिक है -2
ईब के फागण मे ठानी खाटू................
होली ऐसी खेलेंगे शयाम भुल नही पाएगा ठिक है -2
फागण तो दुर हर गयारस पे बुलाएगा ठिक है ,
प्रेम का रसीया ये प्रेम निभाएगा, हारे जो तुम कही पे तो जीत दिलाएगा ठिक है ,
दुनियादारी छोड़ के "टीटू" खाटू मे बस जाएगे. ठिक है -2
हावड़ा से चलकर भगतो के संग खाटू हम भी जाएगे -2
ईब के फागण मे ठानी खाटू मे होली मनाएगे -2...............
ईब के फागण मे ठानी खाटू................ आपको ये पोस्ट पसंद आ सकती हैं
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Author - Saroj Jangir
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