क्यों मांगता है झूठे जमाने से

क्यों मांगता है झूठे जमाने से

क्यों मांगता है झूठे जमाने से,
क्यों मांगता है झूठे जमाने से,
जब देता है बाबा खज़ाने से,
जब देता है बाबा खज़ाने से।

हम तो तेरे सेवक हैं सदियों पुराने,
चाहे तू माने चाहे ना माने,
हम तो तेरे सेवक हैं सदियों पुराने,
चाहे तू माने चाहे ना माने,
हम तो आयें बाबा हैं तुझको रिझाने,
हम तो आयें बाबा हैं तुमको मानने,
चाहे तू माने चाहे ना माने।

फूलों के बंगले में बाबा सजा है,
मोर मुकुट सिर पे खूब जचा है,
पछताएगा तू वक्त गंवाने से,
जब देता है बाबा खज़ाने से,
क्यों मांगता है झूठे जमाने से,
क्यों मांगता है झूठे जमाने से,
जब देता है बाबा खज़ाने से,
जब देता है बाबा खज़ाने से।

आजा बाबा आजा, आजा बाबा आजा,
आजा बाबा आजा, आजा बाबा आजा,
अब दर्श दिखाजा,
बच्चों पे आके अपना प्यार लुटाजा।

प्यार मिलता है इनको रिझाने से,
प्यार मिलता है तालियां बजाने से,
प्यार मिलता है जयकार लगाने से,
बोलो खाटू नरेश की जय,
प्यार मिलता है इनको रिझाने से,
जब देता है बाबा खज़ाने से,
जब देता है बाबा खज़ाने से।

ना मेरी तकदीर का है, और ना सारे जहां का,
मेरे घर में जो कुछ है, दिया हुआ है श्याम का,
मेरे घर में जो कुछ है, दिया हुआ है श्याम का।

क्यों मांगता है झूठे जमाने से,
क्यों मांगता है झूठे जमाने से,
जब देता है बाबा खज़ाने से,
जब देता है बाबा खज़ाने से।


भजन श्रेणी : कृष्ण भजन (Krishna Bhajan)



जब देता है बाबा ख़ज़ाने से || Raj Pareek Ji - Latest Bhajan - Bhind M.P. - 4K HDR
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