ओ अंजनी के लाला मुझे तेरा एक सहारा
ओ अंजनी के लाला मुझे तेरा एक सहारा
महावीर हनुमान को,वंदउ बारम्बार,
संकट में रक्षा करे,
शंकर के अवतार।
ओ अंजनी के लाला,
मुझे तेरा एक सहारा,
अब अपनी शरण में ले ले,
मैं बालक हुँ दुखियारा,
ओ अंजनी के लाला।
माथे पर तिलक विशाला,
कानों में सुंदर बाला
थारै गले राम की माला,
ओ लाल लंगोटे वाला
थारा रूप जगत से न्यारा,
लगता है सबको प्यारा,
अब अपनी शरण में ले ले,
मैं बालक हुँ दुखियारा,
ओ अंजनी के लाला।
प्रभु सालासर के माहीं,
थारो मंदिर है अति भारी
नित दुर दुर से आवै,
थारै दर्शन को नर नारी
जो ल्यावै घृत सिंदुरा,
पा ज्यावै वो फल वो सारा,
अब अपनी शरण में ले ले,
मैं बालक हुँ दुखियारा,
ओ अंजनी के लाला।
सीता का हरण हुआ तो,
श्री राम पे विपदा आई
तुम जा पहुंचे गढ़ लंका,
माता की खबर लगाई
वानर मिल कर सब बोले,
तेरे नाम की जय जय कारा,
अब अपनी शरण में ले ले,
मैं बालक हुँ दुखियारा,
अरे ओ अंजनी के लाला।
जब शक्ति बाण लगा तो,
लक्ष्मण जी को मुर्छा आई
वानर सेना घबराई,
तब रोये राम रघुराई
तुम लाय संजीवन दीन्हा,
लक्ष्मणजी के प्राण उबारा,
अब अपनी शरण में ले ले,
मैं बालक हुँ दुखियारा,
अरे ओ अंजनी के लाला।
बीच भँवर के माहीं,
मेरी नांव हिलोरें खाती
नहीं होता तेरा सहारा,
तो कब की डुब ये जाती
अब दे दो इसे किनारा,
प्रभु बनकर खेवनहारा,
अब अपनी शरण में ले ले,
मैं बालक हुँ दुखियारा,
अरे ओ अंजनी के लाला।
अरे ओ अंजनी के लाला,
मुझे तेरा एक सहारा,
अब अपनी शरण में ले ले,
मैं बालक हुँ दुखियारा,
अरे ओ अंजनी के लाला।
भजन श्रेणी : हनुमान भजन (Hanuman Bhajan)
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