आ दरश दिखा दे बाबा श्याम,
तुझे तेरे लाल बुलाते हैं,
तुझे रो रो पुकारे मेरे नैन,
तुझे तेरे लाल बुलाते हैं,
आ दरश दिखा दे मेरे श्याम
आँखों के आंसू सुख चुके है,
अब तो तू दर्श दिखा दे,
कब से खड़े है दर पे तुम्हारे,
मन की तू प्यास बुझा दे,
तेरी लीला निराली मेरे श्याम,
तुझे तेरे लाल बुलाते हैं,
आ दरश दिखा दे मेरे श्याम..
भींच भवर में नैया पड़ी है
आकर तू पार लगा दे,
तेरे सिवा मेरा कोई नहीं है
आकर तू गले से लगा ले,
क्यों देर लगाते घनश्याम
तुझे तेरे लाल बुलाते हैं,
आ दरश दिखा दे मेरे श्याम...
डूब रहा है सुख का सूरज
गम की बदलिया छाई,
उजड़ गई है बगियाँ जीवन की
मन की कली मुरझाई,
करे विनती ये बालक श्याम
तुझे तेरे लाल बुलाते हैं,
आ दरश दिखा दे मेरे श्याम .........
तुझे तेरे लाल बुलाते हैं,
तुझे रो रो पुकारे मेरे नैन,
तुझे तेरे लाल बुलाते हैं,
आ दरश दिखा दे मेरे श्याम
आँखों के आंसू सुख चुके है,
अब तो तू दर्श दिखा दे,
कब से खड़े है दर पे तुम्हारे,
मन की तू प्यास बुझा दे,
तेरी लीला निराली मेरे श्याम,
तुझे तेरे लाल बुलाते हैं,
आ दरश दिखा दे मेरे श्याम..
भींच भवर में नैया पड़ी है
आकर तू पार लगा दे,
तेरे सिवा मेरा कोई नहीं है
आकर तू गले से लगा ले,
क्यों देर लगाते घनश्याम
तुझे तेरे लाल बुलाते हैं,
आ दरश दिखा दे मेरे श्याम...
डूब रहा है सुख का सूरज
गम की बदलिया छाई,
उजड़ गई है बगियाँ जीवन की
मन की कली मुरझाई,
करे विनती ये बालक श्याम
तुझे तेरे लाल बुलाते हैं,
आ दरश दिखा दे मेरे श्याम .........