हमारे साथ उठाये हाथ जिसे बरसाना जाना है भजन
हमारे साथ उठाये हाथ, जिसे बरसाना जाना है,
हमारे साथ उठाये हाथ, जिसे बरसाना जाना है,
हमारे साथ उठाये हाथ, जिसे बरसाना जाना है,
मन मोहन का तो दुनियाँ में, बरसाना ठिकाना है,
हमारे साथ उठाये हाथ, जिसे बरसाना जाना है,
फिकर ना डर हमें कोई, हमारी स्वामिनी श्री राधा,
फिकर ना डर हमें कोई, हमारी स्वामिनी श्री राधा,
है जिसके प्रेम ने हमको, इन्ही की चौखट पे बाँधा,
इन्ही की चौखट पे बाँधा, इन्ही की चौखट पे बाँधा,
सखी हो, सखी हो,
सखी हूँ मैं अब श्री जी की, भला किससे घबराना है,
हमारे साथ उठाये हाथ, जिसे बरसाना जाना है,
सहारा है हमें इनका, इन्ही के बल दम भरते,
सहारा है हमें इनका, इन्ही के बल दम भरते,
गुजारा चौखा ही होता, नहीं कृपा ये कम करते,
नहीं कृपा ये कम करते, नहीं कृपा ये कम करते,
किशोरी जय हो, किशोरी जय हो,
किशोरी जिमाती हमें, हम गुण इनका गाना है,
हमारे साथ उठाये हाथ, जिसे बरसाना जाना है,
शरण में रहते श्री जी की उन्हें दुनियाँ से क्या लेना,
शरण में रहते श्री जी की उन्हें दुनियाँ से क्या लेना,
श्री राधा नाम ही लेना, श्री राधा नाम ही देना,
श्री राधा नाम ही लेना, श्री राधा नाम ही देना,
समय का, समय का,
समय का लाभ लेते हैं, श्री राधा जपते, जपाते हैं,
हमारे साथ उठाये हाथ, जिसे बरसाना जाना है,
है पागल और दीवानें हम, श्री बरसाना की गलियों के,
है पागल और दीवानें हम, श्री बरसाना की गलियों के,
गोपाली रहते आनंद में, अधीन ना फूलों कलियों के,
मैं श्यामा, मैं श्यामा,
मैं श्यामा जूं की दासी हूँ, गुरु कृपा से जाना है,
हमारे साथ उठाये हाथ, जिसे बरसाना जाना है,
हमारे साथ उठाये हाथ, जिसे बरसाना जाना है,
हमारे साथ उठाये हाथ, जिसे बरसाना जाना है,
मन मोहन का तो दुनियाँ में, बरसाना ठिकाना है,
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