खाटूवाले ओ श्याम बिहारी
खाटूवाले ओ श्याम बिहारी,
हमसे पर्दा करो ना मुरारी,
खाटूवाले ओ श्याम बिहारी,
हमसे पर्दा करो ना मुरारी।
हम तुम्हारे पराये नहीं है,
ग़ैर के दर पे आये नहीं है,
हम तुम्हारे पुराने पुजारी,
हमसे पर्दा करो ना मुरारी।
क्या सुनाऊ तुम्हें अपना दुखड़ा,
तुम तो बैठे हो फेर के मुखड़ा,
बाबा हम है तेरी ज़िम्मेदारी,
हमसे पर्दा करो ना मुरारी।
मेरे दुखड़ों को हरलो तो जानू,
ख़ाली झोली को भरदो तो मानु,
तुम हो दाता और हम है भिखारी,
हमसे पर्दा करो ना मुरारी।
खाटूवाले ओ श्याम बिहारी,
हमसे पर्दा करो ना मुरारी।
हम तुम्हारे पराये नहीं है,
ग़ैर के दर पे आये नहीं है,
हम तुम्हारे पुराने पुजारी,
हमसे पर्दा करो ना मुरारी।
क्या सुनाऊ तुम्हें अपना दुखड़ा,
तुम तो बैठे हो फेर के मुखड़ा,
बाबा हम है तेरी ज़िम्मेदारी,
हमसे पर्दा करो ना मुरारी।
मेरे दुखड़ों को हरलो तो जानू,
ख़ाली झोली को भरदो तो मानु,
तुम हो दाता और हम है भिखारी,
हमसे पर्दा करो ना मुरारी।
श्याम बिहारी | Shyam Bihari | Raj Pareek New Bhajan | खाटूवाले श्याम बिहारी हमसे पर्दा करो ना मुरारी
कृष्ण जी को श्याम और बिहारी इसलिए कहा जाता है क्योंकि उनका रंग काला था और वे वृंदावन में रास रचाया करते थे। कृष्ण जी का जन्म मथुरा में हुआ था। उनके पिता वासुदेव और माता देवकी थे। कृष्ण जी का जन्म कंस को मारने के लिए हुआ था। कंस उनकी माँ का भाई था और वह उन्हें मारना चाहता था। इसलिए, वासुदेव ने कृष्ण जी को गोकुल में नंद बाबा और यशोदा के घर छोड़ दिया। कृष्ण जी गोकुल में बड़े हुए। वे एक नटखट बालक थे। वे अक्सर गाय चराने जाते थे और राधा और अन्य गोपियों के साथ रास रचाया करते थे।
कृष्ण जी का रंग काला था। इसलिए, उन्हें श्याम कहा जाता है। श्याम का अर्थ है "काला"। कृष्ण जी का प्रिय स्थान वृंदावन था। इसलिए, उन्हें बिहारी भी कहा जाता है। बिहारी का अर्थ है "वृंदावन का रहने वाला"। कृष्ण जी को श्याम और बिहारी के अलावा भी कई अन्य नामों से जाना जाता है, जैसे कि गोपाल, गिरधारी, यदुवंश, नंदलाल, कान्हा, और राधा के प्रिय। कृष्ण जी काली काली आंखों वाले एक सुंदर देवता थे। वे अपने भक्तों के लिए बहुत दयालु और करुणामय थे। वे हमेशा अपने भक्तों की मदद करने के लिए तैयार रहते थे। कृष्ण जी हिंदू धर्म के सबसे लोकप्रिय देवताओं में से एक हैं।
कृष्ण जी का रंग काला था। इसलिए, उन्हें श्याम कहा जाता है। श्याम का अर्थ है "काला"। कृष्ण जी का प्रिय स्थान वृंदावन था। इसलिए, उन्हें बिहारी भी कहा जाता है। बिहारी का अर्थ है "वृंदावन का रहने वाला"। कृष्ण जी को श्याम और बिहारी के अलावा भी कई अन्य नामों से जाना जाता है, जैसे कि गोपाल, गिरधारी, यदुवंश, नंदलाल, कान्हा, और राधा के प्रिय। कृष्ण जी काली काली आंखों वाले एक सुंदर देवता थे। वे अपने भक्तों के लिए बहुत दयालु और करुणामय थे। वे हमेशा अपने भक्तों की मदद करने के लिए तैयार रहते थे। कृष्ण जी हिंदू धर्म के सबसे लोकप्रिय देवताओं में से एक हैं।
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Author - Saroj Jangir
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