मैली चादर ओढ़ के कैसे द्वार तुम्हारे आऊँ Maili Chadar Odh Kar Dwar Tumhare Kaise Bhajan
मैली चादर ओढ़ के कैसे,
द्वार तुम्हारे आऊँ।
हे पावन परमेश्वर मेरे,
मन ही मन शरमाऊँ॥
मैली चादर ओढ़ के कैसे,
द्वार तुम्हारे आऊँ।
मैली चादर ओढ़ के कैसे
तूने मुझको जग में भेजा,
निर्मल देकर काया।
आकर इस संसार मैंने,
इसको दाग लगाया।
जनम जनम की मैली चादर,
कैसे दाग छुड़ाऊं॥
मैली चादर ओढ़ के कैसे,
द्वार तुम्हारे आऊँ।
मैली चादर ओढ़ के कैसे
निर्मल वाणी पाकर तुझसे,
नाम न तेरा गाया।
नैन मूंदकर हे परमेश्वर,
कभी ना तुझको ध्याया।
मन वीणा की तारें टूटी,
अब क्या गीत सुनाऊँ॥
मैली चादर ओढ़ के कैसे,
द्वार तुम्हारे आऊँ।
मैली चादर ओढ़ के कैसे
इन पैरों से चल कर तेरे,
मंदिर कभी न आया।
जहां जहां हो पूजा तेरी,
कभी ना शीश झुकाया।
हे हरिहर मैं हार के आया,
अब क्या हार चढाऊँ
मैली चादर ओढ़ के कैसे,
द्वार तुम्हारे आऊँ।
मैली चादर ओढ़ के कैसे
तू है अपरंपार दयालू,
सारा जगत संभाले।
जैसे भी हूँ, मैं हूँ तेरा,
अपनी शरण लगाले।
छोड़ के तेरा द्वारा दाता,
और कहीं नहीं जाऊ॥
मैली चादर ओढ़ के कैसे,
द्वार तुम्हारे आऊँ।
मैली चादर ओढ़ के कैसे
द्वार तुम्हारे आऊँ।
हे पावन परमेश्वर मेरे,
मन ही मन शरमाऊँ
मैली चादर ओढ़ के कैसे,
द्वार तुम्हारे आऊँ।
मैली चादर ओढ़ के कैसे
द्वार तुम्हारे आऊँ।
हे पावन परमेश्वर मेरे,
मन ही मन शरमाऊँ॥
मैली चादर ओढ़ के कैसे,
द्वार तुम्हारे आऊँ।
मैली चादर ओढ़ के कैसे
तूने मुझको जग में भेजा,
निर्मल देकर काया।
आकर इस संसार मैंने,
इसको दाग लगाया।
जनम जनम की मैली चादर,
कैसे दाग छुड़ाऊं॥
मैली चादर ओढ़ के कैसे,
द्वार तुम्हारे आऊँ।
मैली चादर ओढ़ के कैसे
निर्मल वाणी पाकर तुझसे,
नाम न तेरा गाया।
नैन मूंदकर हे परमेश्वर,
कभी ना तुझको ध्याया।
मन वीणा की तारें टूटी,
अब क्या गीत सुनाऊँ॥
मैली चादर ओढ़ के कैसे,
द्वार तुम्हारे आऊँ।
मैली चादर ओढ़ के कैसे
इन पैरों से चल कर तेरे,
मंदिर कभी न आया।
जहां जहां हो पूजा तेरी,
कभी ना शीश झुकाया।
हे हरिहर मैं हार के आया,
अब क्या हार चढाऊँ
मैली चादर ओढ़ के कैसे,
द्वार तुम्हारे आऊँ।
मैली चादर ओढ़ के कैसे
तू है अपरंपार दयालू,
सारा जगत संभाले।
जैसे भी हूँ, मैं हूँ तेरा,
अपनी शरण लगाले।
छोड़ के तेरा द्वारा दाता,
और कहीं नहीं जाऊ॥
मैली चादर ओढ़ के कैसे,
द्वार तुम्हारे आऊँ।
मैली चादर ओढ़ के कैसे
द्वार तुम्हारे आऊँ।
हे पावन परमेश्वर मेरे,
मन ही मन शरमाऊँ
मैली चादर ओढ़ के कैसे,
द्वार तुम्हारे आऊँ।
मैली चादर ओढ़ के कैसे
Maili Chadhar Odh Ke Kaise · Hari Om Sharan · Hari Om Sharan · Traditional
Mailee Chaadar Odh Ke Kaise,Dvaar Tumhaare Aaoon.
He Paavan Parameshvar Mere,
Man Hee Man Sharamaoon.
Mailee Chaadar Odh Ke Kaise,
Dvaar Tumhaare Aaoon.
Mailee Chaadar Odh Ke Kaise
Toone Mujhako Jag Mein Bheja,
Nirmal Dekar Kaaya.
Aakar Is Sansaar Mainne,
Isako Daag Lagaaya.
Janam Janam Kee Mailee Chaadar,
Kaise Daag Chhudaoon.
Mailee Chaadar Odh Ke Kaise,
Dvaar Tumhaare Aaoon.
Mailee Chaadar Odh Ke Kaise
Nirmal Vaanee Paakar Tujhase,
Naam Na Tera Gaaya.
Nain Moondakar He Parameshvar,
Kabhee Na Tujhako Dhyaaya.
Man Veena Kee Taaren Tootee,
Ab Kya Geet Sunaoon.
Mailee Chaadar Odh Ke Kaise,
Dvaar Tumhaare Aaoon.
Mailee Chaadar Odh Ke Kaise
In Pairon Se Chal Kar Tere,
Mandir Kabhee Na Aaya.
Jahaan Jahaan Ho Pooja Teree,
Kabhee Na Sheesh Jhukaaya.
He Harihar Main Haar Ke Aaya,
Ab Kya Haar Chadhaoon
Mailee Chaadar Odh Ke Kaise,
Dvaar Tumhaare Aaoon.
Mailee Chaadar Odh Ke Kaise
Too Hai Aparampaar Dayaaloo,
Saara Jagat Sambhaale.
Jaise Bhee Hoon, Main Hoon Tera,
Apanee Sharan Lagaale.
Chhod Ke Tera Dvaara Daata,
Aur Kaheen Nahin Jaoo.
Mailee Chaadar Odh Ke Kaise,
Dvaar Tumhaare Aaoon.
Mailee Chaadar Odh Ke Kaise
Dvaar Tumhaare Aaoon.
He Paavan Parameshvar Mere,
Man Hee Man Sharamaoon
Mailee Chaadar Odh Ke Kaise,
Dvaar Tumhaare Aaoon.
Mailee Chaadar Odh Ke Kaise
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Author - Saroj Jangir
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