मुकुट सिर मोर का मेरे चित चोर का लिरिक्स Mukut Sir Mor Ka Mere Chit Chor Ka Lyrics

मुकुट सिर मोर का मेरे चित चोर का लिरिक्स Mukut Sir Mor Ka Mere Chit Chor Ka Lyrics

मुकुट सिर मोर का मेरे चित चोर का
मुकुट सिर मोर का, मेरे चित चोर का ।
दो नैना सरकार के, कटीले हैं कटार से ॥

कमल लज्जाये तेरे नैनो को देख के ।
भूली घटाए तेरी कजरे की रेख पे ।
यह मुखड़ा निहार के, सो चाँद गए हार के,
दो नैना सरकार के, कटीले हैं कटार से ॥

कुर्बान जाऊं तेरी बांकी अदाओं पे ।
पास मेरे आजा तोहे भर मैं भर लूँ मैं बाहों में ।
जमाने को विसार के, दिलो जान टोपे वार के,
दो नैना सरकार के, कटीले हैं कटार से ॥

रमण बिहारी नहीं तुलना नहीं तुम्हारी ।
तुझ सा ना पहले कोई ना देखा अगाडी ।
दीवानों ने विचार के, कहा यह पुकार के,
दो नैना सरकार के, कटीले हैं कटार से ॥

mukut sir mor ka mere chit chor ka
mukut sir mor ka, mere chit chor ka .
do naina sarakaar ke, kateele hain kataar se .

kamal lajjaaye tere naino ko dekh ke .
bhoolee ghatae teree kajare kee rekh pe .
yah mukhada nihaar ke, so chaand gae haar ke,
do naina sarakaar ke, kateele hain kataar se .

kurbaan jaoon teree baankee adaon pe .
paas mere aaja tohe bhar main bhar loon main baahon mein .
jamaane ko visaar ke, dilo jaan tope vaar ke,
do naina sarakaar ke, kateele hain kataar se .

raman bihaaree nahin tulana nahin tumhaaree .
tujh sa na pahale koee na dekha agaadee .
deevaanon ne vichaar ke, kaha yah pukaar ke,
 

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