बिन पिये नशा हो जाता है,
जो राधे राधे गाता है,
बिन पिये नशा हो जाता है,
जो राधे राधे गाता है।
रस पी कर गातो की आधा तो कर,
मेरे बांके बिहारी से वादा तो कर,
फिर खुद चल कर वो आता है,
जो राधे राधे गाता है,
बिन पिये नशा हो जाता है,
जो राधे राधे गाता है।
जिसके अंदर मन भाव बड़ा,
वही ऊंची अटारी की सीढ़ी चढ़ा,
उसे गोपी बना लिया जाता है,
जो राधे राधे गाता है,
बिन पिये नशा हो जाता है,
जो राधे राधे गाता है।
जो रस ना मिले महकाने मे,
मिलता है वो बरसाने मे,
फिर और कही ना जाता है,
जो राधे राधे गाता है,
बिन पिये नशा हो जाता है,
जो राधे राधे गाता है।
बरसाना मेरा रंगीला है,
सब राधा नाम की लीला है,
भगवान भी चरण दबाता है,
जो राधे राधे गाता है,
बिन पिये नशा हो जाता है,
जो राधे राधे गाता है।
बिन पिये नशा हो जाता है,
जो राधे राधे गाता है,
बिन पिये नशा हो जाता है,
जो राधे राधे गाता है।
Janmashtami# Radhe Ji ka dhamakedar bhajan# srs bhajan mala# Radheshyam Mandi# Gurgaon
आपको ये पोस्ट पसंद आ सकती हैं