बीरा थारी चुनड़ली रा चटका है दिन चार भजन

बीरा थारी चुनड़ली रा चटका है दिन चार भजन

बीरा थारी चुनड़ली रा,
चटका है दिन चार,
पुराणी पड़गी चुनड़ी।।

आंखों से सूझे नहीं रे,
सुणे ना दोनू कान,
दांत बत्तीसी गिर पड़ी है,
बिगड़ी चुनड़ली री शान।
बीरा थारी चुनड़ली रा,
चटका है दिन चार,
पुराणी पड़गी चुनड़ी।।

सल पड़या शरीर में रे,
अब तो भज भगवान,
रंग गुलाबी उड़ गयो,
बिगड़ी चुनड़ली री सान।
बीरा थारी चुनड़ली रा,
चटका है दिन चार,
पुराणी पड़गी चुनड़ी।।

सुध-बुध भुलियो शरीर को रे,
थोड़ो भावे धान,
डगमग-डगमग नाड़ चाले,
अब तू भज भगवान।
बीरा थारी चुनड़ली रा,
चटका है दिन चार,
पुराणी पड़गी चुनड़ी।।

खा ले, पी ले और खर्च ले,
कर चुनड़ी रो मान,
प्रताप गिरी यूं कहते हैं,
रखो गुरु चरणों में ध्यान।
बीरा थारी चुनड़ली रा,
चटका है दिन चार,
पुराणी पड़गी चुनड़ी।।

बीरा थारी चुनड़ली रा,
चटका है दिन चार,
पुराणी पड़गी चुनड़ी।।


चेतावनी भजन - थारी चुनरी रो चटको दिन चार || सबसे ज्यादा वायरल होने वाला भजन !! swami Sachchidanand

ऐसे ही अन्य भजनों के लिए आप होम पेज / गायक कलाकार के अनुसार भजनों को ढूंढें.
 

पसंदीदा गायकों के भजन खोजने के लिए यहाँ क्लिक करें।

 
यह भजन भी देखिये
Saroj Jangir Author Author - Saroj Jangir

इस ब्लॉग पर आप पायेंगे मधुर और सुन्दर भजनों का संग्रह । इस ब्लॉग का उद्देश्य आपको सुन्दर भजनों के बोल उपलब्ध करवाना है। आप इस ब्लॉग पर अपने पसंद के गायक और भजन केटेगरी के भजन खोज सकते हैं....अधिक पढ़ें

Next Post Previous Post