मीरा दीवानी हो गयी रे भजन

मीरा दीवानी हो गयी रे भजन

मीरा दीवानी हो गयी रे,
मीरा दीवानी हो गयी,
श्याम रंग में रंगी चुनरियां,
मीरा दीवानी हो गई रे,
मीरा मस्तानी हो गयी।

राणा की राजधानी छोड़ी,
लोक लाज सब छोड़ी,
रंग के श्याम रंग में चुनर,
मीरा जी ने ओडी,
लोक लाज की नहीं खबरिया,
मीरा दीवानी हो गई रे,
मीरा मस्तानी हो गयी।

इस दुनिया से प्रीत तोड़ के,
श्यामल रंग चढ़ाया,
साथ सभी का छोड़ दिया और,
गिरिधर गिरिधर गाया,
वो तो ऐसी भाई बावरिया,
मीरा दिवानी हो गयी रे,
मीरा मस्तानी हो गयी।।


पैरों में वो घुँघरू बाँध के,
नाचे झूमे गाए,
भई विहरनी श्याम विरह और,
ना कोई है भाए,
वृन्दावन की गयी डगरिया,
मीरा दिवानी हो गयी रे,
मीरा मस्तानी हो गयी।।

लगन लगी तेरे दरश की,
और ना कोई भाए,
गली गली तोहे ढूंढती,
कही ना फिर वो पाए,
तेरे दर पे बीती उमरिया,
मीरा दिवानी हो गयी रे,
मीरा मस्तानी हो गयी।।

मीरा दीवानी हो गई रे,
मीरा दीवानी हो गई,
श्याम रंग में रंगी चुनरियां,
मीरा दीवानी हो गई रे,
मीरा मस्तानी हो गयी।

मीरा दीवानी हो गयी रे,
मीरा दीवानी हो गयी,
श्याम रंग में रंगी चुनरियां,
मीरा दीवानी हो गई रे,
मीरा मस्तानी हो गयी।

बाबा रसिका पागल जी ह्रदय की गहराईयो से पुकारते हुए - मीरा दीवानी हो गई रे मीरा मस्तानी हो गई

मीरा का हृदय श्याम के प्रेम में डूबा, उनकी दीवानगी साँस-साँस में बसी। राजधानी, लोक-लाज, संसार की हर बंधन छोड़, उसने श्याम रंग की चुनर ओढ़ी। दुनिया की प्रीत तोड़, गिरिधर का नाम जपते हुए मन बावरा हुआ। पायल बाँध, झूमते-गाते, वृंदावन की राह पकड़ी, जहाँ श्याम के सिवा कुछ न भाया। उनके दर्शन की लगन ऐसी, जैसे प्यासा सागर की एक बूँद को तरसे। गली-गली खोजा, उमर उनके दर पर बीती, फिर भी प्रेम की प्यास न बुझी। यह मीरा की भक्ति है—श्याम के रंग में रंगकर साधक संसार के बंधनों से मुक्त, प्रेम और समर्पण के सागर में डूब जाता, जहाँ केवल प्रभु का नाम और उनकी मस्ती शेष रहती।

Singer Name:  परम पूज्य सदगुरुदेव बाबा रसिका पागल जी महाराज
Video Name: मीरा दीवानी हो गई रे मीरा मस्तानी हो गई

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