अमृत की बरसे फुहार,
खुशियाँ मनाओ प्रेमियों,
खुशियां मनाओ प्रेमियों,
है गुरु की कृपा अपार,
खुशियाँ मनाओ प्रेमियों।
खुशियों और आनन्द,
का ये दरबार है,
भक्ति और मुक्ति का,
मिलता उपहार है,
बोलो सतगुरु की,
जय जयकार,
अमृत की बरसे फुहार,
खुशियां मनाओ प्रेमियों।
भक्तो के हुए देखो,
सच्ची सरकार जी,
दर्शन देकर किया,
है निहाल जी,
झूमे भक्ति में सारा संसार,
अमृत की बरसे फुहार,
खुशियाँ मनाओ प्रेमियों।
भक्ति के दीपक,
दिल में जलाये हैं,
घट घट वासी प्रभु,
धरती पे आये हैं,
सुन्दर पाकर,
इनका दीदार,
अमृत की बरसे फुहार,
खुशियां मनाओ प्रेमियों।
रहमत का सतगुरु,
भोला भण्डार है,
दासो के दास जाये,
बलिहार है,
इनके जैसा,
ना कोई अवतार,
अमृत की बरसे फुहार,
खुशियाँ मनाओ प्रेमियों।
खुशियाँ मनाओ प्रेमियों,
खुशियां मनाओ प्रेमियों,
है गुरु की कृपा अपार,
खुशियाँ मनाओ प्रेमियों।
खुशियों और आनन्द,
का ये दरबार है,
भक्ति और मुक्ति का,
मिलता उपहार है,
बोलो सतगुरु की,
जय जयकार,
अमृत की बरसे फुहार,
खुशियां मनाओ प्रेमियों।
भक्तो के हुए देखो,
सच्ची सरकार जी,
दर्शन देकर किया,
है निहाल जी,
झूमे भक्ति में सारा संसार,
अमृत की बरसे फुहार,
खुशियाँ मनाओ प्रेमियों।
भक्ति के दीपक,
दिल में जलाये हैं,
घट घट वासी प्रभु,
धरती पे आये हैं,
सुन्दर पाकर,
इनका दीदार,
अमृत की बरसे फुहार,
खुशियां मनाओ प्रेमियों।
रहमत का सतगुरु,
भोला भण्डार है,
दासो के दास जाये,
बलिहार है,
इनके जैसा,
ना कोई अवतार,
अमृत की बरसे फुहार,
खुशियाँ मनाओ प्रेमियों।
अमृत की बरसे फुहार,
खुशियाँ मनाओ प्रेमियों,
खुशियां मनाओ प्रेमियों,
है गुरु की कृपा अपार,
खुशियाँ मनाओ प्रेमियों।
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