सज धज कर चले त्रिपुरारी वृंदावन की सुहानी गली में
Saj Dhaj Kar Chale Tripurari Bhajan Lyrics
सज धज कर चले त्रिपुरारी,वृंदावन की सुहानी गली में,
मेरे माथे का चंदा हटा दो,
और माथे पर बिंदिया लगा दो,
बिंदिया लगा के चले त्रिपुरारी,
वृंदावन की सुहानी गली में।
मेरे गले से नाग हटा दो और,
फूलों की माला पहना दो,
माला पहने चले त्रिपुरारी,
वृंदावन की सुहानी गली में,
सज धज कर चले त्रिपुरारी,
वृंदावन की सुहानी गली में।
मेरे हाथों से डमरू हटा दो और,
हाथों में चूड़ा पहना दो,
चूड़ा पहने चले त्रिपुरारी,
वृंदावन की सुहानी गली में,
सज धज कर चले त्रिपुरारी,
वृंदावन की सुहानी गली में।
मेरा बाघाम्बर यह हटा दो,
मुझे लहंगा साड़ी पहना दो
साड़ी पहनने के चले त्रिपुरारी,
वृंदावन की सुहानी गली में,
सज धज कर चले त्रिपुरारी,
वृंदावन की सुहानी गली में।
सज धज कर चले त्रिपुरारी,
वृंदावन की सुहानी गली में,
मेरे माथे का चंदा हटा दो,
और माथे पर बिंदिया लगा दो,
बिंदिया लगा के चले त्रिपुरारी,
वृंदावन की सुहानी गली में।
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Author - Saroj Jangir
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