यहां कोई नहीं अपना दुनिया ही बेगानी है लिरिक्स Yaha Koi Nahi Apana Lyrics

यहां कोई नहीं अपना दुनिया ही बेगानी है लिरिक्स Yaha Koi Nahi Apana Lyrics

यहां कोई नहीं अपना,
दुनिया ही बेगानी है,
दुनिया जिसे कहते हैं,
वह झूठी कहानी है,
यहां कोई नहीं अपना,
दुनिया ही बेगानी है।

एक फूल सा बचपन था,
जो बीत गया सारा,
अब सारी जिंदगानी,
कांटो पर बितानी है,
यहां कोई नहीं अपना,
दुनिया ही बेगानी है।

धनवान बड़े आये,
बलवान बड़े आये,
बाकी ना रहा कोई,
ना कोई निशानी है,
यहां कोई नहीं अपना,
दुनिया ही बेगानी है।

तूने महल बनाए थे,
और बाग लगाए थे,
अब छोड़ कर यह नगरी,
जंगल में बितानी है,
यहां कोई नहीं अपना,
दुनिया ही बेगानी है।

एक रोज यहां आना,
एक रोज वहां जाना,
आ करके चले जाना,
यह रीत पुरानी है,
यहां कोई नहीं अपना,
दुनिया ही बेगानी है।

रथ घोड़े और हाथी,
तेरा कोई नहीं साथी,
एक दिन तो तेरी डोली,
लोगों ने उठानी है,
यहां कोई नहीं अपना,
दुनिया ही बेगानी है।

यहां कोई नहीं अपना,
दुनिया ही बेगानी है,
दुनिया जिसे कहते हैं,
वह झूठी कहानी है,
यहां कोई नहीं अपना,
दुनिया ही बेगानी है।
 


इस चेतावनी भजन को सुनकर आप सोचने पर मजबूर हो जायेंगे | Yahan Koi Nahin Apna | Gyanendra Sharma

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