श्याम भरोसे हो जा प्यारे भजन लिरिक्स Shyam Bharose Ho Ja Pyare Bhajan Lyrics

श्याम भरोसे हो जा प्यारे भजन लिरिक्स Shyam Bharose Ho Ja Pyare Bhajan Lyrics : Sanjay Mittal Bhajan

यह भजन श्री कृष्ण जी / खाटू श्याम जी का प्रसिद्द भजन है जिसे स्वर दिया है श्री संजय  मित्तल जी ने। इस भजन के लेखक राघव जी गुप्ता जी हैं। इस भजन के बोल अत्यंत ही मधुर हैं जो आपको पसंद आने वाले हैं। इस भजन को आप अपने मित्रों में बीच भी शेयर करें।
 
श्याम भरोसे हो जा प्यारे भजन लिरिक्स Shyam Bharose Ho Ja Pyare Bhajan Lyrics : Sanjay Mittal Bhajan

श्याम भरोसे हो जा प्यारे,
ये शृष्टि के पालन हारे,
श्याम भरोसे हो जा प्यारे।

चिंता करे क्यों बैठा,
जब है ये मालिक तीनों लोक का,
साँवरे के हाथों उलझन,
जीवन की सारी अपनी सौंप जा,
सुलझने लगेंगे खुद ही,
सुलझने लगेंगे खुद ही,
ये शृष्टि के पालन हारे,
श्याम भरोसे हो जा प्यारे।

मुश्किल तो आएगी पर,
तुझको कभी ना छूने पायेगी,
ढ़ाल खड़ा है बनके,
भेद इसे ना कभी पायेगी,
कवच कृपा का इनकी,
कवच कृपा का इनकी,
पहन ले प्यारे,
श्याम भरोसे हो जा प्यारे।

जीवन ये बीता कितना,
और है कितना ही ये रह गया,
अब भी शरण आने को,
गर सोचता ही तू जो रह गया,
समय ना कमल थमता पर,
समय ना कमल थमता पर,
साँस थम जाए रे,
श्याम भरोसे हो जा प्यारे।

श्याम भरोसे हो जा प्यारे,
ये शृष्टि के पालन हारे,
श्याम भरोसे हो जा प्यारे।
 

Shyam Bharose Hoja Pyaare - श्याम भजन | Sanjay Mittal | Latest Shyam Bhajans @SanjayMittalOfficial


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Singer : Sanjay Mittal
Lyrics : Raghav Gupta (KAMAL)
Music : Kanhaiya Jha
Label: Sanjay Mittal Official

श्याम भरोसे हो जा प्यारे ये शृष्टि के पालन हारे- श्री श्याम / खाटू श्याम जी आप ही सृष्टि के पालन हारे हो।
श्याम भरोसे हो जा प्यारे- भक्त श्री श्याम जी के ही भरोसे पर हैं।
चिंता करे क्यों बैठा जब है ये मालिक तीनों लोक का : चिंता करके भक्त क्यों बैठा है, श्री श्याम जी तो तीनों लोकों के स्वामी हैं।
साँवरे के हाथों उलझन जीवन की सारी अपनी सौंप जा : भक्त को अपनी उलझन और संकट को ईश्वर के चरणों में रख छोड़ना चाहिए।
सुलझने लगेंगे खुद ही : तमाम तरह की उलझने स्वतः ही सुलझने लगेगी।
मुश्किल तो आएगी पर तुझको कभी ना छूने पायेगी : तमाम तरह की मुश्किलें तुमको छू नहीं पाएंगे।
ढ़ाल खड़ा है बनके : श्री खाटू श्याम जी ढाल बांके भक्तों की रक्षा के लिए खड़ा रहता है।
भेद इसे ना कभी पायेगी कवच कृपा का इनकी : श्री श्याम जी की कृपा रूपी ढाल को कोई भी भेद नहीं सकता है।
कवच कृपा का इनकी पहन ले प्यारे : तुम श्री श्याम जी की कृपा की ढाल को पहन लो।
जीवन ये बीता कितना : यह जीवन कितना बीत चूका है।
और है कितना ही ये रह गया : यह जीवन कितना रह गया है।
अब भी शरण आने को : तुमको चाहिए की तुम खाटू श्याम जी की शरण में आओ।
गर सोचता ही तू जो रह गया : यदि तुम सोचते हो तो सोचते रह जाओगे।
समय ना कमल थमता पर साँस थम जाए रे : समय कभी रुकता नहीं है भले ही साँसे रुक क्यों ना जाएँ। 

"श्याम भरोसे हो जा प्यारे ये शृष्टि के पालन हारे: Surrender to Shyam, beloved, the sustainer of creation."
"श्याम भरोसे हो जा प्यारे: Beloved, have faith in Shyam."
"चिंता करे क्यों बैठा जब है ये मालिक तीनों लोक का: Why worry when the master of all three worlds is present?"
"साँवरे के हाथों उलझन जीवन की सारी अपनी सौंप जा: Surrender all the tangles of life into the hands of the Beloved."
"सुलझने लगेंगे खुद ही: They will untangle on their own."
"मुश्किल तो आएगी पर तुझको कभी ना छूने पायेगी: Difficulties will come, but they will never touch you."
"ढ़ाल खड़ा है बनके: The shield is standing ready."
"भेद इसे ना कभी पायेगी कवच कृपा का इनकी: No one can pierce it, it's the shield of their grace."
"कवच कृपा का इनकी पहन ले प्यारे: Beloved, wear the shield of their grace."
"जीवन ये बीता कितना: How much of life has passed?"
"और है कितना ही ये रह गया: And how much is left?"
"अब भी शरण आने को: Still, there is refuge available."
"गर सोचता ही तू जो रह गया: If you keep pondering, you will remain behind."
"समय ना कमल थमता पर साँस थम जाए रे: Time never stops, but breaths might."

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