श्याम जो देता ना मुझको सहारा भजन लिरिक्स

श्याम जो देता ना मुझको सहारा Shyam Jo Deta Na Mujhko Sahara Bhajan

 
श्याम जो देता ना मुझको सहारा लिरिक्स Shyam Jo Deta Na Mujhko Sahara Lyrics

श्याम श्याम ओ मेरे श्याम श्याम
श्याम जो देता ना मुझको सहारा
होता कभी न पार किनारा
श्याम जो देता ना मुझको सहारा
होता कभी न पार किनारा

उजड़ गयी थी ज़िन्दगी श्याम मेरी
जो होती ना मुझपे नज़र तेरी
पतझड़ था ये मेरा जीवन सारा
होता कभी न पार किनारा
श्याम जो देता ना मुझको सहारा
होता कभी न पार किनारा

आयी मुसीबत अपनों ने साथ छोड़ दिया
मैंने जिसकी और भी देखा उसी ने मुख मोड़ लिया
जीवन की राहों में फिरता था मारा मारा
होता कभी न पार किनारा
श्याम जो देता ना मुझको सहारा
होता कभी न पार किनारा

श्याम मिला तो बनी मेरी पहचान
सब अपने बन गए जो थे कभी अनजान
करिश्मा ना भूलेगी ये प्यार तुम्हारा
होता कभी न पार किनारा
श्याम जो देता ना मुझको सहारा
होता कभी न पार किनारा
 

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