What is Patanjali Aloe Vera Juice पतंजलि एलोवेरा जूस क्या है ?
पतंजलि एलोवेरा ज्यूस पतंजली आयुर्वेद की एक आयुर्वेदिक दवा है जो एलोवेरा (ग्वारपाठा -घृतकुमारी) के गुणों से भरपूर है। एलोवेरा ज्यूस ग्वारपाठे का रस है जो शरीर के लिए बहुत उपयोगी होता है। पारम्परिक रूप से घृत कुमारी का उपयोग पाचन को सुधारने, शारीरिक दर्दों को दूर करने, बालों के झड़ने, बवासीर आकी विकारों के लिए किया जाता रहा है। वर्तमान समय में मुख्य रूप से ग्वारपाठे के क्लियर जेल और yellow latex का उपयोग विभिन्न रूपों में किया जाता है। आइये जान लेते हैं की घृत कुमारी (ग्वारपाठा ) क्या होता है।What is Aloe Vera ग्वारपाठा (घृतकुमारी) एलोवेरा क्या होता है
प्रकृति ने हमें कई प्रकार की नायाब ओषधियाँ दी हैं जो हमें बड़ी सुगमता से प्राप्त हो जाती हैं, ऐसी ही एक ओषधि है घृतकुमारी। ग्वारपाठे को इसके औषधीय गुणों के कारण सभी जानते हैं। एलोवेरा का वानस्पतिक नाम वानस्पतिक नाम Aloe vera (Linn.) Burm.f. / Syn Aloe barbadensis Mill है। (Common Names: aloe vera, aloe, burn plant, lily of the desert, elephant’s gall, Latin Names: Aloe vera, Aloe barbadensis) इसे हिंदी में घीकुआँर, ग्वारपाठा, घीग्वार और संस्कृत में घृतकुमारी के नाम से जाना जाता है। ग्वारपाठे के चिकित्सीय गुणों के सबंध में प्राचीन आयुर्वेदिक ग्रंथों में इसका वर्णन पाया जाता है जिससे स्पष्ट होता है की इसका उपयोग लम्बे समय से स्वास्थ्य के लिए किया जाता रहा है।ग्वार पाठे का उपयोग चीन, जापान और भारत में पारंपरिक चिकित्सा में किया जाता है। घृत कुमारी के पौधे के कोई तना नहीं होता है और इसकी कलियाँ गूदेदार और रस से भरी हुई होती हैं। ग्वारपाठे की पत्तियाँ भालाकार, मोटी और रसीली होती हैं। वैसे तो घृतकुमारी एक जंगली पादप है लेकिन इसके गुणों के कारण बढ़ती माँग के चलते अब इसकी व्यावसायिक खेती भी की जाने लगी हैं। ऐसी मान्यता है की एलोवेरा की उत्पत्ति उत्तरी अफ्रीका में हुई है और सत्रवीं सदी में इसे भारत लाया गया था। यह लिली कुल का एक पादप है जो खनिजों, लवणों और विटामिनों से भरपूर है। वैसे तो इस पादप की सैंकड़ों प्रजातियाँ हैं लेकिन इनमे से कुल ५ प्रजाति है हमारे उपयोग में लिए जाने योग्य हैं।
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एलोवेरा में 75 प्रतिशत पानी, 70 तरह के मिनरल, एंजाइंम्स, प्रोटीन, एमिनो एसिड और विटामिन होते हैं। इसके प्रमुख गुणों में एंटी एजिंग और आर्द्रताकारी (Moisturizing) गुण हैं तथा साथ ही इसमें एंटीसेप्टिक, एंटी-बैक्टीरियल, एंटी-इंफ्लेमेटरी प्रॉपर्टीज होती हैं। घृत कुमारी में प्राकृतिक रूप से विटामिन ए और फोलिक एसिड आदि पाए जाते हैं (1) पाचन विकारों और शरीर के विभिन्न दर्दों को दूर करने के लिए भी घृतकुमारी का उपयोग घरेलु रूप से किया जाता रहा है।
पतंजलि गिलोय क्वाथ परिचय और फायदे
Benefits of Aloe Vera (एलोवेरा के फायदे ) ग्वारपाठे के लाभ
वैसे तो ग्वारपाठे का उपयोग कई रूपों में किया जाता है जैसे की ग्वारपाठे का हलुआ, ग्वारपाठे के पेडे, ग्वारपाठे का ज्यूस, ग्वारपाठे का शरबत या ग्वारपाठे की फलियों की सब्जी, लेकिन सभी के मुख्य लाभ एक जैसे ही होते हैं। ग्वारपाठे के प्रमुख लाभ निम्न प्रकार से होते हैं।एलोवेरा लाभदाई है कमर दर्द के लिए Aloe Vera is useful in Backache in Hindi
ग्रामीण इलाकों में पारंपरिक रूप से ग्वारपाठे के गुदे से पेडे, लड्डू आदि बनाए जाते हैं और इन्हें कमर दर्द, जोड़ों के दर्द के रूप में इस्तेमाल किया जाता है। एलोवेरा जेल को सीधे कमर पर भी दर्द निवारक दवा के रूप में लगाया जाता है। जोड़ों के दर्द और गठिया जैसे रोगों में भी ग्वारपाठे (Aloe Vera) का सेवन लाभकारी माना जाता है। एक अध्ययन के मुताबिक कई प्रकार के जोड़ो के दर्द को दूर करने, सुजन को दूर कर दर्द में राहत देने सबंधी लाभकारी गुण (एंटी इन्फ्लामेंटरी ) ग्वारपाठे में पाए जाते हैं। (2)पतंजलि गिलोय क्वाथ परिचय और फायदे
मोटापा दूर करने के लिए एलोवेरा का उपयोग Aloe Vera for Weight Loose
अनियमित जीवन शैली और शारीरिक मेहनत के अभाव में मोटापा जैसे विकार उत्पन्न हो जाते हैं, ऐसे में पतंजली एलोवेरा ज्यूस के सेवन से (Aloe Vera Juice ) मोटापे से छुटकारा पाया जा सकता है। एलोवेरा में एंटी ओबेसिटी गुण पाए जाते हैं जिनके कारण यह शरीर से मोटापे को दूर करने में सहयोगी हो सकता है। (3) एलोवेरा में लगभग 75 एक्टिव विटामिन्स, मिनरल्स, एंजाइम्स, काबोहाइड्रेट्स, अमीना एसिड, सेलिसिलिक एसिड और फाइटोकेमिकल्स पाए जाते हैं जिनके चलते यह शरीर के लिए बहुत ही उपयोगी होता है।वजन के बढ़ने और नियंत्रण में चयापचय प्रणाली का बहुत ही महत्वपूर्ण योगदान होता है। एलोवेरा जूस (Aloe Vera Juice ) के सेवन से गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल सिस्टम दुरुस्त होता है जिससे कई मामलों में यह शरीर की अतरिक्त चर्बी को दूर करता है। इसके अतरिक्त एलोवेरा के सेवन से शरीर के मेटॉबोलिज्म रेट को तेज करता है और शरीर में प्राकृतिक एन्टीऑक्सीडेन्ट का निर्माण करता है। एलोवेरा ज्यूस (Aloe Vera Juice ) के सेवन से शरीर के टॉक्सिक एलिमेंट भी बाहर निकलने में लाभ मिलता है। एलोवेरा के ज्यूस को सुबह खाली पेट लेने से शीघ्र लाभ मिलता है।
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अंदरूनी सफाई भी करता है जिससे पाचन सुधरता है। आँतों के हानिकारक बेक्टेरिया को मारकर आँतों की सुरक्षा भी करता है। यह जूस आपके पेट में बनने वाले Acid को भी नियंत्रित करता है और सुबह उठकर खाली पेट एलोवेरा की पत्तियों के रस का सेवन करने से पेट में कब्ज़ की समस्या में राहत मिलती है।
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एलोवेरा जूस से करें कब्ज दूर Aloe Vera Juice Good in Constipation
एलोवेरा के फायदे | आचार्य बालकृष्ण सुबह खाली पेट एलोवेरा का जूस पीने से जहाँ कई प्रकार के लाभ प्राप्त होते हैं वहीँ कब्ज जैसे विकारों से भी छुटकारा मिलता है। एलोवेरा जूस लैक्सेटिव गुण (Laxative) होते हैं जिनसे कब्ज दूर करने में लाभ मिलता है। जिन खाद्य प्रदार्थों में लैक्सेटिव गुण होते हैं वे मल को चिकना करके कब्ज को दूर करने में सहायता करते हैं। एलोवेरा जूस (एलोवेरा जूस ) पाचन क्रिया को सही ढंग से चलाने में मदद करता है औरअंदरूनी सफाई भी करता है जिससे पाचन सुधरता है। आँतों के हानिकारक बेक्टेरिया को मारकर आँतों की सुरक्षा भी करता है। यह जूस आपके पेट में बनने वाले Acid को भी नियंत्रित करता है और सुबह उठकर खाली पेट एलोवेरा की पत्तियों के रस का सेवन करने से पेट में कब्ज़ की समस्या में राहत मिलती है।
मधुमेह में भी उपयोगी है एलोवेरा जूस Aloe Vera Juice benefits in Diabetes
मधुमेह के विकार में भी ग्वारपाठे का रस (Aloe Vera Juice ) उपयोगी होता है। एक शोध के मुताबिक वैद्य की सलाह के उपरान्त एलोवेरा के जूस का सेवन मधुमेह में लाभकारी हो सकता है (3)पाचन तंत्र को सुधारने के लिए एलोवेरा जूस के लाभ Aloe Vera Juice Helps Digestion
पाचन तंत्र को मजबूत करने के लिए भी एलोवेरा जूस का लाभ बहुत होता है, यह कब्ज को दूर करता है, और चयापचय क्रिया को दुरुस्त कर भूख में वृद्धि करता है।
सूजन दूर करने के लिए उपयोगी है एलोवेरा ज्यूस Aloe Vera Juice for Various Body Pain
एलोवेरा ज्यूस में एंटी इन्फ्लामेंटेरी प्रोपर्टीज होती हैं जो शरीर की सुजन को कम करके शरीर के विभिन्न दर्दों को कम करने में लाभदाई होती हैं। वस्तुतः अभी इस विषय में अधिक शोध की आवश्यकता है। गठिया जैसे जॉइंट पैन में भी एलोवेरा जूस लाभकारी होता है।
सर दर्द में उपयोगी होता है एलोवेरा जूस (Benefits of Aloe Vera in Relief from Headache in Hindi)
एलोवेरा जूस के सेवन से सरदर्द में भी राहत मिलती है। एलोवेरा के गुदे को मसल कर उसके रस में दारु हल्दी मिलाकर लगाने से सरदर्द में राहत मिलती है। वात और पित्त जनित सर दर्द में इससे तुरंत ही राहत मिलती है।सूजन दूर करने के लिए उपयोगी है एलोवेरा ज्यूस Aloe Vera Juice for Various Body Pain
एलोवेरा ज्यूस में एंटी इन्फ्लामेंटेरी प्रोपर्टीज होती हैं जो शरीर की सुजन को कम करके शरीर के विभिन्न दर्दों को कम करने में लाभदाई होती हैं। वस्तुतः अभी इस विषय में अधिक शोध की आवश्यकता है। गठिया जैसे जॉइंट पैन में भी एलोवेरा जूस लाभकारी होता है।
एलोवेरा जूस फॉर स्किन Aloe Vera Juice benefits for face and Skin in Hindi
एलोवेरा जूस चेहरे और त्वचा विकारों में बहुत ही लाभकारी होता है। वर्तमान में अधिकाँश सौंदर्य प्रसाधन, यथा फेस जेल / फेस वाश में एलोवेरा जेल का उपयोग किया जा रहा है, यह एलोवेरा के इन्ही गुणों को दर्शाता है। रूखी त्वचा के लिए एलोवेरा जूस बहुत ही लाभकारी रहता है। यदि आप एलोवेरा के जेल को / आप स्वंय गूदे को मसल कर चेहरे पर लगाएं तो आप एलोवेरा के इन मॉइस्चराइजिंग गुणों को प्राप्त कर सकते हैं। चेहरे पर पड़ने वाली झुर्रियों के लिए भी एलोवेरा का जेल लाभदाई होता है। (4)Benefits of Patanjali Aloe Vera Swaras with fibre पतंजली एलोवेरा के अन्य फायदे
- पारंपरिक रूप से एलोवेरा जूस का उपयोग पीलिया को दूर करने में किया जाता रहा है।
- एलोवेरा स्वरस के सेवन से कब्ज दूर होता है और पाचन तंत्र में सुधार होता है।
- एलोवेरा स्वरस के में हल्दी मिलाकर लेने से तिल्ली (प्लीहा) विकार में लाभ प्राप्त होता है।
- एलोवेरा जूस से हमको कई प्रकार के विटामिन की प्राप्ति होती है। इसका सेवन करने से विटामिन ए, विटामिन बी1, विटामिन बी6, बी12, और विटामीन सी आदि की पाप्ति होती है और साथ ही एलोवेरा जूस से फोलिक एसिड की भी प्राप्ति होती है। इसके अतिरिक्त एलोवेरा जूस से सोडियम, कैल्शियम, आयरन, पोटैशियम, क्रोमियम, मैग्निशियम, मैंगनीज, जस्ता, तांबा, और अन्य खनिज लवण भी प्राप्त होते हैं |
- एलोवेरा जूस के सेवन से रोग प्रतिरोधक क्षमता का विकास होता है।
- बालों और त्वचा के लिए भी ग्वारपाठे का रस लाभ कारी होता है।
- यह शरीर से विषाक्त प्रदार्थों को बाहर निकालता है।
- एलोवेरा को उत्तम रक्त शुद्धि करने वाला माना जाता है।
विशेष : यद्यपि एलोवेरा का उपयोग पारंपरिक रूप से विभिन्न विकारों को दूर करने में किया जाता रहा है लेकिन फिर भी आप किसी भी उपाय और जानकारी को आजमाने से पूर्व अपने वैद्य / चिकित्सक से अवश्य राय प्राप्त कर लेवें। यह लेख किसी विकारों को दूर करने का दावा नहीं करता है।
Price of Patanjali Aloe Vera Juce with fibre पतंजलि एलोवेरा जूस विद फाइबर की कीमत नवीनतमसुचना के लिए आप पतंजली की वेबसाइट पर विजिट करें। यह लेख लिखे जाने तक इसकीकीमत रूपये २००/- है।
Where Can I Buy Patanjali Aloe Vera Juce पतंजलि एलोवेरा जूस कहाँ से खरीदें
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पतंजली एलोवेरा स्वरस को आप नजदीकी पतंजली आयुर्वेद स्टोर्स/चिकित्सालय से प्राप्त कर सकते हैं और इसे आप वैद्य की सलाह के उपरान्त ऑनलाइन अमेज़न और पतंजली की अधिकृत वेब साईट से खरीद सकते हैं, जिसका लिंक निचे दिया गया है।
पतंजलि आयुर्वेदा की अधिकृत वेब साइट -
https://www.patanjaliayurved.net/product/natural-health-care/health-drinks/aloevera-juice-with-fiber-l/578
How To Make Aloe Vera Juice at Home in Hindi एलोवेरा जूस को घर पर तैयार करें हो सकता है की इस लॉक डाउन में आपको एलोवेरा का जूस मिलने में कुछ परेशानी हो तो आप अपने स्तर पर भी एलोवेरा का जूस बना सकते हैं। ग्वारपाठे की एक बड़ी कली को लें और उसकी ऊपर की परत को हटा दें, अब आप इसके पीले चिपचिपे रस को कुछ देर के लिए निकलने दें, यह पीला रस हमको उपयोग में नहीं लेना है। अब जो गुदा बचता है उसे अच्छे से पानी से धो लें और इसे मिक्सी में अच्छे से पीस लें। आप इस रस की दो चम्मच में एक गिलास पानी मिलाकर पिए। अधिक मात्रा में एक साथ इसका सेवन नहीं करे और जो रस आपने निकाला है उसे आप नहाने से पहले अपनी त्वचा और हाथों पर लगाएं और त्वचा विकारों में भी लाभ प्राप्त करें। इसका रस त्वचा पर लगाने से झुर्रियां दूर होती हैं और त्वचा में एक निखार आता है।
एलोवेरा एक प्राकृतिक ओषधिय पादप है जिसके कोई ज्ञात दुष्परिणाम नहीं हैं फिर भी आप इसे आजमाने से पूर्व वैद्य /चिकित्सक की सलाह अवश्य प्राप्त कर लें और उसकी बताई गई मात्रा में ही इस एलोवेरा जूस का सेवन करें। यदि आप चाहें तो पतंजली आयुर्वेदा चिकित्सालय/पतंजली स्टोर्स पर उपलब्ध वैद्य की सलाह लेवें जो निशुल्क है।
छोटे बच्चों और किसी अन्य विकार की दवा ले रहें व्यक्ति को इसका उपयोग सामान्य रूप से नहीं किया जाता चाहिए।
पतंजलि आयुर्वेदा की अधिकृत वेब साइट -
https://www.patanjaliayurved.net/product/natural-health-care/health-drinks/aloevera-juice-with-fiber-l/578
How To Make Aloe Vera Juice at Home in Hindi एलोवेरा जूस को घर पर तैयार करें हो सकता है की इस लॉक डाउन में आपको एलोवेरा का जूस मिलने में कुछ परेशानी हो तो आप अपने स्तर पर भी एलोवेरा का जूस बना सकते हैं। ग्वारपाठे की एक बड़ी कली को लें और उसकी ऊपर की परत को हटा दें, अब आप इसके पीले चिपचिपे रस को कुछ देर के लिए निकलने दें, यह पीला रस हमको उपयोग में नहीं लेना है। अब जो गुदा बचता है उसे अच्छे से पानी से धो लें और इसे मिक्सी में अच्छे से पीस लें। आप इस रस की दो चम्मच में एक गिलास पानी मिलाकर पिए। अधिक मात्रा में एक साथ इसका सेवन नहीं करे और जो रस आपने निकाला है उसे आप नहाने से पहले अपनी त्वचा और हाथों पर लगाएं और त्वचा विकारों में भी लाभ प्राप्त करें। इसका रस त्वचा पर लगाने से झुर्रियां दूर होती हैं और त्वचा में एक निखार आता है।
Precaution to use Aloe Vera Juice एलोवेरा जूस के सेवन में सावधानियाँ एलोवेरा के उपयोग से सबंधित निम्न सावधानियों का पालन करना चाहिए -
एलोवेरा एक प्राकृतिक ओषधिय पादप है जिसके कोई ज्ञात दुष्परिणाम नहीं हैं फिर भी आप इसे आजमाने से पूर्व वैद्य /चिकित्सक की सलाह अवश्य प्राप्त कर लें और उसकी बताई गई मात्रा में ही इस एलोवेरा जूस का सेवन करें। यदि आप चाहें तो पतंजली आयुर्वेदा चिकित्सालय/पतंजली स्टोर्स पर उपलब्ध वैद्य की सलाह लेवें जो निशुल्क है।
छोटे बच्चों और किसी अन्य विकार की दवा ले रहें व्यक्ति को इसका उपयोग सामान्य रूप से नहीं किया जाता चाहिए।
- यदि आपको किसी प्रकार की एलर्जी है तो वैद्य से संपर्क करें।
- यह मसल्स को कमजोर कर सकता है।
- गर्भवती महिलाओं को इसका सेवन नहीं करना चाहिए।
- एलोवेरा का सेवन ब्लड शुगर को कम कर देता है इसलिए मधुमेह से ग्रसित व्यक्ति को इसका सेवन चिकित्सक की सलाह के उपरान्त ही करना चाहिए।
- रक्त विकारों में भी एलोवेरा का उपयोग लाभकारी होता है और प्लेटरेट्स को बढाने में मदद करता है।
- Journal of Pharmacognosy and Phytochemistry Vol.1No.42012 www.phytojournal.comPage 118Aloe vera: The Miracle Plant Its Medicinal and Traditional Uses in India
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The author of this blog, Saroj Jangir (Admin),
is a distinguished expert in the field of Ayurvedic Granths. She has a
diploma in Naturopathy and Yogic Sciences. This blog post, penned by me,
shares insights based on ancient Ayurvedic texts such as Charak
Samhita, Bhav Prakash Nighantu, and Ras Tantra Sar Samhita. Drawing from
an in-depth study and knowledge of these scriptures, Saroj Jangir has
presented Ayurvedic Knowledge and lifestyle recommendations in a simple
and effective manner. Her aim is to guide readers towards a healthy life
and to highlight the significance of natural remedies in Ayurveda.
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Author - Saroj Jangir
दैनिक रोचक विषयों पर में 20 वर्षों के अनुभव के साथ, मैं इस ब्लॉग पर रोचक और ज्ञानवर्धक जानकारियों और टिप्स यथा आयुर्वेद, हेल्थ, स्वास्थ्य टिप्स, पतंजलि आयुर्वेद, झंडू, डाबर, बैद्यनाथ, स्किन केयर आदि ओषधियों पर लेख लिखती हूँ, मेरे इस ब्लॉग पर। मेरे लेखों का उद्देश्य सामान्य जानकारियों को पाठकों तक पहुंचाना है। मैंने अपने करियर में कई विषयों पर गहन शोध और लेखन किया है, जिनमें जीवन शैली और सकारात्मक सोच के साथ वास्तु भी शामिल है....अधिक पढ़ें। |