जय बाबा की जय बाबा की, करता जाऊँगा, उस मेहंदीपुर के राजा से, मैं हाल सुनाऊंगा, जय बाबा की जय बाबा की, करता जाऊँगा।
दुनिया के वो संकट काटे, संकट हारी नाम, बैठ शरण में मैं भी पी लू, आज भक्ति का जाम, रटके माला राम नाम की, कष्ट कटाऊंगा, उस मेहंदीपुर के राजा से, मैं हाल सुनाऊंगा,
सारे जग में धूम मची सै, उस घाटा नगरी की, एक झलक ने तरसे दुनिया, ज्योति जगरी की, लेके ने ख़ास अर्जी, भोग लगाऊंगा, उस मेहंदीपुर के राजा से, मैं हाल सुनाऊंगा,
राज भोग की लेके डिब्बी, आनंद हो ज्या काया, प्रेत राज सरकार संग, भैरों ने धुना लाया, चावल उड़द का भोग देके,
फ़र्ज़ निभाउंगा, उस मेहंदीपुर के राजा से, मैं हाल सुनाऊंगा,
सिया राम का मंदिर प्यारा, कटि भवन के आगे, जो भी शीश झुकाये उसकी, सोइ किस्मत जागे, श्री राम का जोर लगा, जय कारा लाऊंगा, उस मेहंदीपुर के राजा से, मैं हाल सुनाऊंगा,
बाला गुरूजी भवन ले संगत मैं, तीन बार पर आई,
माता टेक भोग लिया फिर, फिर चौकी वहां सजाई, राजू ढिगलिया के संग में नाचू गाऊंगा, उस मेहंदीपुर के राजा से, मैं हाल सुनाऊंगा,
जय बाबा की जय बाबा की, करता जाऊँगा, उस मेहंदीपुर के राजा से, मैं हाल सुनाऊंगा, जय बाबा की जय बाबा की, करता जाऊँगा।