कैसी जंज लियाया नी मेरा भोले शंकर

कैसी जंज लियाया नी मेरा भोले शंकर

भूत प्रेतां बने बराती संग लियाया घोड़े हाथी।
गल साँपां दी माला पा के बैल ते 
चढ़ के आया नी मेरा भोले शंकर
बगड़ बम बम
एह कैसी जंज लियाया नी मेरा भोले शंकर
एह कैसी जंज लियाया
नीलकंठ है जटाधार मेरा भूतपति हर हर हर शंभू।

तन ते भस्म भभूत रमाया मथे उत्ते चाँद सजाया।
गंगा जी नूँ जटी बिठा के चंद्रशेखर नाम धराया।
डम डम डम डम डमरू वज्जदा 
जिवें आकाशी बादल गज्जदा।
लिश लिश कर त्रिशूल चमकदा 
घुँघरू छन छन पैर छनकदा।
पौण देव पिया शंख वजावे वीणा शारदा गावे।
खड़ खड़ तालियाँ मारन पत्ते खिल 
खिल के पिया हर फूल हसे।
मोरां कोइला घोड़ियाँ गाइयाँ हर 
तिनका ब्रह्मांड दा नच्चे।
गा कोमल सा रे पा दा सा शिव रंजनी राग गूंजदा।
गहिरा मात्रे अठ खंड दा रुद्र नाम दा ताल गूंजदा।
पूरी काइनात पई नच्चे ऐसा रंग 
चढ़ाया नी मेरा भोले शंकर
बगड़ बम बम

एह कैसी जंज लियाया नी मेरा भोले शंकर
एह कैसी जंज लियाया

नीलकंठ है जटाधार मेरा भूतपति हर हर हर शंभू।

कूंडा डंडा भंग पियाले पींदे घोट घोट मतवाले।
साधां मस्तां धूणे लाए संग सी शुक्र शनिचर आए।
देवी देवते आए सारे परियाँ लै के आईयाँ तारे।
भूत चुड़ैलां धूम मचाऊंदे भूतपति दे गुण पए गाऊंदे।
सिद्ध नाथ दे जोगी आए जंगल दे विच मंगल लाए।
अंतर मंत्र विद्या आई जावे शिव नूँ सीस झुकाई।
काला चिट्टा भूरा आए शिव दे चरणीं भेंट चढ़ाए।
सत्ता रंगां पींघ बनाई झूला झूले गौरजां माई।
शगनां वाला चूड़ा पाया शिव नाम दी मेहंदी लाई।
महलां वजियाँ ने शहनाइयाँ सखियाँ 
वटणा लाया नी मेरा भोले शंकर
बगड़ बम बम

एह कैसी जंज लियाया नी मेरा भोले शंकर
एह कैसी जंज लियाया

नीलकंठ है जटाधार मेरा भूतपति हर हर हर शंभू।

आदि अनंत है अंतर्यामी तीन लोक दा इक्को स्वामी।
जनम मरण तों परे है भोला सिद्धी है वी एहो अगामी।
देव दानव तेरी पूजा करदे दम दम दम शिवा दा भरदे।
तेरे हुक्म विच धरती घूमदी चाँद ते सूरज ਲਹਿੰਦੇ चढ़ਦੇ।
कैलाशां ते डेरा तेरा भक्तां दे दिल विच बसेरा।
तेरा नाम लिया इक वारी दुख क्लेश ते मिटे अन्हेरा।
जल विच तूं है थल विच तूं है नौ खंड विच तूं ही तूं है।
अंदर तूं है बाहर तूं है ब्रह्मांड विच तूं ही तूं है।
सब कुछ तेरे विच समाया अर्धनारीश्वर राहिं कहाया।
पंडित बोधी बड़े सियाणे तेरा पार किसे ना पाया।
शैरी वेरके वाले लिखिया जो तूं 
दृश्य दिखाया नी मेरा भोले शंकर
बगड़ बम बम
एह कैसी जंज लियाया नी मेरा भोले शंकर
एह कैसी जंज लियाया
नीलकंठ है जटाधार मेरा भूतपति हर हर हर शंभू।


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