आक में ईख फोग में जीरो हिंदी मीनिंग अर्थ मतलब Rajasthani Muhavare Hindi Meaning
आक में ईख, फोग में जीरो हिंदी मीनिंग अर्थ मतलब Rajasthani Muhavare Hindi Meaning Rajasthani Dictionary
आक में ईख, फोग में जीरो" या "आकड़ा में ईंख फोग में जीरो" "आकड़ा में डोको, फोगा में जीरो" एक राजस्थानी भाषा का मुहावरा है जिसका हिंदी में अर्थ होता है की अयोग्य स्थान पर मूल्यवान और कीमती वस्तु का होना. इसका उपयोग सामान्य रूप से किसी वस्तु या व्यक्ति की गुणवत्ता को उसके विरोधी परिवेश के सन्दर्भ में किया जाता है. इसके अर्थ को विस्तार से समझने के लिए आप इसके शब्दों के अर्थ को पहले समझें -
आक : आकड़ा, आक एक पादप, मंदार.
इंख : गन्ना
फोग : राई के समान दिखने वाला एक पादप जिसके बीजों को अधिक कीमती नहीं समझा जाता है.
जीरो : जीरा (सब्जी में तड़का लगाने के काम आने वाला बीज, यहाँ इसका भाव कीमती और मूल्यवान से है)
उदाहरण से आप ऐसे समझिये की की जिस समाज में हम रह रहे हैं वह कई कुल और जातियों में विभाजित है. इसमें सभी के टैग लगे हैं की वह किस जाति, समाज और कुल से आता है (जो की विकास में बाधक है, लेकिन सच्चाई यही है). यदि समाज में घोषित किसी निम्न जाति में कोई वैज्ञानिक, बुद्धिजीवी उत्पन्न हो जाए तो तब हम करेंगे की " आक में इंख, फोग में जीरो".
यदि हमें किसी छोटे से सरकारी स्कूल में कोई विद्वान शिक्षक दिखाई दे तो हम कहेंगे " आक में इंख, फोग माई जीरो"
अतः इस मुहावरे का भाव स्पष्ट है की जहाँ पर संसाधनों का अभाव हो, हर वस्तु कमतर हो और वहां पर यदि हमें कोई गुण दिखाई दे तो इस मुहावरे का प्रयोग किया जाता है. आंचलिक स्तर पर इसे निम्न प्रकार से बोला जाता है.
आकड़ा में इंख, फोग माहीं जीरो,
आकड़ा में इन्ख्या, फोगड़ा माई जीरा"
आक म्हाइ इंख, फोगड़ा माहीं जीरो"
इन सभी के अर्थ समान ही होते हैं.
आक : आकड़ा, आक एक पादप, मंदार.
इंख : गन्ना
फोग : राई के समान दिखने वाला एक पादप जिसके बीजों को अधिक कीमती नहीं समझा जाता है.
जीरो : जीरा (सब्जी में तड़का लगाने के काम आने वाला बीज, यहाँ इसका भाव कीमती और मूल्यवान से है)
उदाहरण से आप ऐसे समझिये की की जिस समाज में हम रह रहे हैं वह कई कुल और जातियों में विभाजित है. इसमें सभी के टैग लगे हैं की वह किस जाति, समाज और कुल से आता है (जो की विकास में बाधक है, लेकिन सच्चाई यही है). यदि समाज में घोषित किसी निम्न जाति में कोई वैज्ञानिक, बुद्धिजीवी उत्पन्न हो जाए तो तब हम करेंगे की " आक में इंख, फोग में जीरो".
यदि हमें किसी छोटे से सरकारी स्कूल में कोई विद्वान शिक्षक दिखाई दे तो हम कहेंगे " आक में इंख, फोग माई जीरो"
अतः इस मुहावरे का भाव स्पष्ट है की जहाँ पर संसाधनों का अभाव हो, हर वस्तु कमतर हो और वहां पर यदि हमें कोई गुण दिखाई दे तो इस मुहावरे का प्रयोग किया जाता है. आंचलिक स्तर पर इसे निम्न प्रकार से बोला जाता है.
आकड़ा में इंख, फोग माहीं जीरो,
आकड़ा में इन्ख्या, फोगड़ा माई जीरा"
आक म्हाइ इंख, फोगड़ा माहीं जीरो"
इन सभी के अर्थ समान ही होते हैं.
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आक में ईख, फोग में जीरो राजस्थानी भाषा का शब्द है जिसके निम्न उदाहरण हैं, आइये इस शब्द को उदाहरण के माध्यम से समझते हैं।
आक में ईख, फोग में जीरो हिंदी मीनिंग अर्थ मतलब Rajasthani Muhavare Hindi Meaning
अतः
इस प्रकार से आपने जाना की "आक में ईख, फोग में जीरो" एक राजस्थानी भाषा का शब्द है जिसका
वाक्य में प्रयोग के आधार पर विविध प्रकार से बोला जाता है। "आक में ईख, फोग में जीरो" शब्द के
हिंदी भाषा में समानार्थी शब्द (अर्थ/मीनिंग) अयोग्य स्थान पर मूल्यवान और कीमती वस्तु का होना आदि होते
हैं। " आक में ईख, फोग में जीरो" को अंग्रेजी में virtuous in an unworthy place कहते हैं। आक में ईख, फोग में जीरो से सबंधित
अन्य जानकारियां निचे दी गई हैं।