जेती देषौं आत्मा तेता सालिगराँम मीनिंग Jeti Dekho Aatma Teta Saligram Meaning Kabir Dohe

जेती देषौं आत्मा तेता सालिगराँम मीनिंग Jeti Dekho Aatma Teta Saligram Meaning Kabir Dohe, Kabir Ke Dohe (Saakhi) Hindi Arth/Hindi Meaning Sahit (कबीर दास जी के दोहे सरल हिंदी मीनिंग/अर्थ में )

जेती देषौं आत्मा, तेता सालिगराँम।
साधू प्रतषि देव हैं, नहीं पाथर सू काँम॥
Jeti Dekho Aatma, Teta Saligram,
Sathu Pratakhi Dev Hai, Nahin Paathr Su Kaam.

जेती देषौं आत्मा : जितनी आत्माएं मैंने देखी हैं.
तेता सालिगराँम : उतने ही सालिग्राम हैं.
साधू प्रतषि देव हैं : साधू प्रत्यक्ष रूप में देव हैं.
नहीं पाथर सू काँम : पत्थर से मुझे कोई काम नहीं है.
जेती : जितनी भी.
देषौं : देखें.
आत्मा : जीवात्मा.
तेता : उतने ही.
सालिगराँम : मूर्ति (इश्वर)
साधू : संत, देवता.
प्रतषि : प्रत्यक्ष.
देव हैं : देवता है.
पाथर : पत्थर.
सू : से.
काँम : लेना देना.

कबीर साहेब की वाणी है की मैं जितने भी जीवों, प्राणियों को देखता हूँ वे सभी सालिग्राम हैं. सभी जीवात्माएं ही सालिग्राम हैं, देवता है. साधू ही प्रत्यक्ष देवता हैं. सभी जीवात्माओं में इश्वर है, वह किसी पत्थर की मूर्ति में नहीं है.
आशय है की जिसने ब्रह्म को पहचान लिया है उसके लिए प्रत्येक जीवात्मा में इश्वर है, वह भला क्यों किसी पत्थर की पूजा करेगा. धार्मिक आडम्बर का विरोध करते हुए
साहेब की वाणी है की किसी मूर्ति की पूजा क्यों की जाए. इश्वर तो प्रत्येक जीव में है.
 
Next Post Previous Post
No Comment
Add Comment
comment url