मेरी चुनरी में परिगयो दाग पिया लिरिक्स Meri Chunari Me Pargyo Daag Piya Lyrics Kabir Bhajan
मेरी चुनरी में परिगयो दाग पिया।
पांच तत की बनी चुनरिया
सोरह सौ बैद लाग किया।
यह चुनरी मेरे मैके ते आयी
ससुरे में मनवा खोय दिया।
मल मल धोये दाग न छूटे
ग्यान का साबुन लाये पिया।
कहत कबीर दाग तब छुटि है
जब साहब अपनाय लिया।
पांच तत की बनी चुनरिया
सोरह सौ बैद लाग किया।
यह चुनरी मेरे मैके ते आयी
ससुरे में मनवा खोय दिया।
मल मल धोये दाग न छूटे
ग्यान का साबुन लाये पिया।
कहत कबीर दाग तब छुटि है
जब साहब अपनाय लिया।
Meree Chunaree Mein Parigayo Daag Piya.
Paanch Tat Kee Banee Chunariya
Sorah Sau Baid Laag Kiya.
Yah Chunaree Mere Maike Te Aayee
Sasure Mein Manava Khoy Diya.
Mal Mal Dhoye Daag Na Chhoote
Gyaan Ka Saabun Laaye Piya.
Kahat Kabeer Daag Tab Chhuti Hai
Jab Saahab Apanaay Liya.
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