पीरियड्स का दर्द बहुत तीव्र होता है, इसके दौरान सामान्य काम काज करना भी मुश्किल हो जाता है। मासिक चक्र के दौरान आपको पेट दर्द, सिर दर्द, ऐंठन, कमर दर्द, मूड में बदलाव, चिड़चिड़ापन आदि हो सकता है। यूँ तो पीरियड्स के दर्द को दूर करने के अनेकों तरीके हैं लेकिन आप अपनी रसोई में उपलब्ध गुड़ से भी इस दर्द को कम कर सकती हैं। इस लेख में हम इसी विषय में जानकारी प्राप्त करेंगे।
पीरियड्स के दर्द को दूर करता है गुड़ Jaggery (Gud) Benefits in Periods
गुड़ हमारी रसोई में बहुत प्राचीन समय से है जिससे इसकी उपयोगिता को आसानी से समझा जा सकता है। सामान्य रूप में खाने के बाद एक छोटा टुकड़ा गुड़ का खाया जाता है जो पाचन को बल देता है और कब्ज को दूर करता है। गुड़ का उपयोग सर्दियों के मौसम के अधिकता से किया जाता है क्योंकि गुड़ की तासीर कुछ गर्म होती है और यह शरीर को गर्माहट देता है।
यूँ तो गुड़ अनेक पोषक तत्वों को लिए होता है जिनेक कई लाभ होते हैं, लेकिन आइये जान लेते हैं की पीरियड्स के दौरान गुड़ का सेवन क्यों किया जाता रहा है।
पीरियड्स के दौरान महिलाओं को पेट में ऐंठन होती है। यह दर्द अत्यंत ही तीव्र होता है। गुड़ में मैग्नीशियम और सेलेनियम जैसे तत्व इस ऐठन को दूर करते हैं।
इसके साथ ही पीरियड्स के दौरान शरीर में कमजोरी आने लगती है। गुड़ में पाया जाने वाला आयरन इस कमजोरी को दूर करता है।
शोध से यह पता चलता है की गुड़ खाने से शरीर में एंडोर्फिन हॉर्मोन का निर्माण होना शुरू होता है। यह पीरियड्स का दर्द और मेंस्ट्रुअल क्रैम्प को कुछ कम करता है। गुड़ गर्भाशय की ऐंठन को कम करने में मदद करता है।
पीरियड्स के दौरान होने वाले दर्द से महिलाएं चिड़चिड़ी हो जाती हैं। गुड़ में एंटी-इंफ्लामेटरी और एंटीस्पास्मोडिक गुण होने के कारण यह आपके मूड को नार्मल करता है। इसके अतिरिक्त गुड़ के सेवन से खून की कमी (एनीमिया) दूर होती है। मानसिक स्वास्थ्य सुधरता है। गुड़ के सेवन से आयरन, कैल्शियम, पोटैशियम, मैग्नीशियम जैसे पोषक तत्व प्राप्त होते हैं और साथ ही मेटाबॉलिज्म भी सुधरता है।
गुड़ के अतिरिक्त पीरियड्स में आप निम्न आहार/भोजन का सेवन करें :
हरी पत्तेदार सब्जियों का सेवन अवश्य ही करें, इनमें प्रचूर मात्रा में आयरन होता है।
दूध, दही, पनीर आदि का सेवन करें क्योंकि इनमें केल्सियम होता है जो पीरियड्स के दर्द को कम करता है।
पीरियड्स के दौरान पेट में गैस जमा हो सकती है, ऐसे में आप अविपत्तिकर चूर्ण, हिंग्वाष्टक चूर्ण, अग्नि संदीपन चूर्ण का उपयोग कर सकते हैं। आप रसोई में मौजूद अजवायन का चूर्ण बनाकर भी ले सकती हैं जो गैस को दूर करता है।
ऐंठन और दर्द को दूर करने के आप अदरक को चाय में डालकर सेवन करें, आप चाहें तो सौंठ का चूर्ण भी अदरक के स्थान पर उपयोग में ले सकती हैं।
आप डार्क चॉकलेट का उपयोग भी कर सकती हैं क्योंकि इसमें फाइबर और मैग्नीशियम होता है जो पीरियड्स के दर्द में लाभकारी होता है।
आप अजवाइन की चाय का भी सेवन कर सकती हैं, अजवाइन की चाय के अंदर ब्लैक टी होते हैं जो की एंटीऑक्सीडेंट गुण के कारण थकान को कम करती है।
गर्भाशय की ऐंठन को दूर करने के लिए आप हीटिंग पेड का उपयोग कर सकती हैं।
पीरियड्स के दौरान निचले हिस्से में नारियल या तिल के तेल से मालिश करें यह दर्द को कम करता है।
पीरियड्स के दौरान ठन्डे पानी के स्थान पर गुनगुना पानी पीना चाहिए।
माहवारी के दौरान ग्रीन टी का उपयोग भी गुणकारी होता है।
अदरक (ginger): अदरक का तेल बनाकर दर्द वाले स्थान पर मालिश करें।
हल्दी (turmeric): हल्दी को दूध में मिलाकर पीने से मासिक धर्म के दर्द में आराम मिलता है।
जीरा (cumin): एक गिलास पानी में थोड़ी सी जीरा डालकर उसे उबालें, फिर उसे ठंडा करके निचे दिए गए पानी को पिएं। जीरा मासिक धर्म के दर्द को कम करने में मदद कर सकता है।
पुदीना (mint): पुदीने के पत्तों को पानी में उबालें और इस पानी को ठंडा होने दें, गुनगुने पानी का सेवन करें।
तुलसी (holy basil): तुलसी की पत्तियों को उबालें और उस पानी को थोड़ा ठंडा करके पिएं। तुलसी आपके शरीर के तापमान को कम करता है और इससे आपके दर्द कम हो सकते हैं।
आप योग के माध्यम से भी दर्द को कम कर सकते हैं, इस हेतु कुछ आसन हैं विपरीतकरण आसन (Viparita Karani), शवासन (Shavasana),भ्रमरी प्राणायाम (Bhramari Pranayama), जल नेती (Jal Neti), बालासन (Balasana), मलासन (Malasana), सुखासन (Sukhasana), पश्चिमोत्तानासन (Paschimottanasana), भुजंगासन (Bhujangasana)
गुड़ के सेवन में सावधानियां : गुड़ का एक छोटा टुकड़ा ही खाएं। अधिक गुड़ का सेवन करने से शरीर में गर्मी बढ़ जाती है। यदि आप शुगर, गुड़ से एलर्जी से ग्रसित हैं तो गुड़ के सेवन से पूर्व वैद्य / चिकित्सक की राय अवश्य ही प्राप्त करें।
पीरियड्स में दर्द क्यों होता है? मासिक धर्म में दर्द से कैसे पाये छुटकारा | Periods Pain
मासिक धर्म में दर्द क्यों होता है ? गर्भाशय के अंदर की परत के खींचाव के कारण दर्द होता है। यह खींचाव गर्भाशय के अंदर के संरचनाओं या उनके आसपास के नसों में दर्द उत्पन्न करता है। प्रोजेस्टेरोन हार्मोन के स्तर में बदलाव मासिक धर्म के समय दर्द का कारण होता है। जब आपका शरीर यह हार्मोन उत्पन्न करता है, तो यह गर्भाशय की परत को खींचता है जो दर्द का कारण बनता है। अधिक मात्रा में प्रोस्टेगलैंडिन हार्मोन के उत्पन्न होने से भी दर्द होता है। यह हार्मोन गर्भाशय की परत को खींचता है और दर्द को बढ़ाता है।
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गुड़ खाने से पीरियड आता है ? गुड़ खाने से पीरियड्स जल्दी नहीं आता है बल्कि कम मात्रा में गुड़ का सेवन माहवारी के दर्द को दूर करने में उपयोगी होता है। गुड़ में पाए जाने वाले एंटी-इंफ्लेमेटरी और एंटी-स्पस्मोडिक गुण गर्भाशय की ऐंठन को कम करते हैं। गुड़ (jaggery): गुड़ में अनेक पोषक तत्व होते हैं जो मासिक धर्म के दर्द को कम करने में मदद करते हैं। एक छोटा टुकड़ा गुड़ को दूध के साथ मिलाकर पीने से आपको आराम मिल सकता है।
पीरियड आने के लिए कितना गुड़ खाना चाहिए? पीरियड्स के समय हमें गुड़ का एक छोटा टुकड़ा ही खाना चाहिए। अधिक मात्रा में गुड़ का सेवन करने से शरीर में गर्मी बढ़ जाती है।
क्या पीरियड्स के दर्द के लिए गुड़ अच्छा है? पीरियड्स के दौरान एक छोटा टुकड़ा गुड़ का खाने से दर्द में आराम मिलता है। यह गर्भाशय की ऐंठन को कम करता है।
पीरियड्स के लिए गुड़ कैसे खाएं? एक छोटा टुकड़ा गुड़ का खाकर इसके बाद गुनगुना पानी पिए।
डिस्क्लेमर: यह लेख केवल सामान्य जानकारी के लिए है। यह किसी भी तरह से किसी दवा या इलाज का विकल्प नहीं हो सकता। अधिक और विस्तृत जानकारी जानकारी के लिए हमेशा अपने डॉक्टर से संपर्क करें।
Author - Saroj Jangir
दैनिक रोचक विषयों पर में 20 वर्षों के अनुभव के साथ, मैं इस ब्लॉग पर रोचक और ज्ञानवर्धक जानकारियों और टिप्स यथा आयुर्वेद, हेल्थ, स्वास्थ्य टिप्स, पतंजलि आयुर्वेद, झंडू, डाबर, बैद्यनाथ, स्किन केयर आदि ओषधियों पर लेख लिखती हूँ, मेरे इस ब्लॉग पर। मेरे लेखों का उद्देश्य सामान्य जानकारियों को पाठकों तक पहुंचाना है। मैंने अपने करियर में कई विषयों पर गहन शोध और लेखन किया है, जिनमें जीवन शैली और सकारात्मक सोच के साथ वास्तु भी शामिल है....अधिक पढ़ें।